मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल का पहला सत्र. पहले दिन सक्रिय प्रतिद्वंद्वी। जब एक के बाद एक बीजेपी सांसद नए संसद भवन में शपथ ले रहे हैं. तभी विपक्ष संसद भवन परिसर में संविधान के साथ विरोध प्रदर्शन में शामिल हो गया. इंडिया अलायंस के सांसदों ने विरोध शुरू कर दिया है. इसमें तृणमूल कांग्रेस भी शामिल हो गयी. कल्याण बनर्जी से लेकर सुदीप बनर्जी तक तृणमूल कांग्रेस के सांसदों ने न्यू संसद भवन परिसर में विरोध प्रदर्शन किया. सांसद सुदीप बनर्जी ने आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री मोदी बंगाल को बताए बिना बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना से तीस्ता जल वितरण समझौते पर बातचीत कर रहे हैं. तानाशाही ऐसे नहीं चल सकती. सीधा निशाना. विपक्षी दल के सांसदों ने कहा कि उनका विरोध आंदोलन संविधान की रक्षा के लिए है. कांग्रेस की ओर से सोनिया गांधी, राहुल गांधी, मल्लिकार्जुन खड़गेरा विरोध प्रदर्शन में शामिल हुए. विरोध प्रदर्शन में राजद और समाजवादी पार्टी के सांसद भी शामिल हुए. उन्होंने संविधान को हाथ में लिया और संविधान की रक्षा करने की मांग की.